Nifty 50 में फिर लौटी रौनक: आईटी और बैंकिंग शेयरों ने बढ़ाया बाजार का आत्मविश्वास

भारतीय शेयर बाजार में पिछले कुछ दिनों से जो गिरावट देखी जा रही थी, वह अब थमती नजर आ रही है। Nifty 50 में तेजी की वापसी के साथ निवेशकों का भरोसा एक बार फिर मजबूत हुआ है। खासतौर पर आईटी और बैंकिंग सेक्टर के शेयरों में आई उछाल ने बाजार को नई दिशा दी है। आइए जानते हैं आखिर किन कारणों से Nifty में यह तेजी देखने को मिली और निवेशकों को आगे क्या रणनीति अपनानी चाहिए।

आईटी सेक्टर में सुधार के संकेत

आईटी सेक्टर ने हाल ही में बेहतर तिमाही परिणाम पेश किए हैं। इंफोसिस, टीसीएस, और एचसीएल टेक जैसी कंपनियों ने अपेक्षा से बेहतर मुनाफा दर्ज किया है। अमेरिकी बाजार में टेक सर्विसेज की बढ़ती मांग का सीधा फायदा भारतीय आईटी कंपनियों को मिल रहा है। साथ ही, डॉलर के मुकाबले रुपये की गिरावट ने आईटी एक्सपोर्टर्स के मुनाफे को और बढ़ाया है। इन कारणों से आईटी सेक्टर के शेयरों में लगातार खरीदारी देखने को मिल रही है, जिससे निफ्टी 50 को मजबूत सपोर्ट मिला है।

बैंकिंग सेक्टर में भरोसे की वापसी

बैंकिंग सेक्टर में भी तेजी की एक नई लहर देखने को मिल रही है। एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, और एसबीआई जैसे दिग्गज बैंकों के स्टॉक्स में निवेशकों की दिलचस्पी बढ़ी है। एनपीए (Non-Performing Assets) में कमी और लोन डिमांड में सुधार ने बैंकिंग सेक्टर को मजबूती दी है। साथ ही, RBI की स्थिर ब्याज दर नीति ने निवेशकों को राहत दी है, जिससे बाजार में सकारात्मक माहौल बना है।

विदेशी निवेशकों (FII) की वापसी

पिछले कुछ महीनों से विदेशी संस्थागत निवेशक (FII) भारतीय बाजार से दूरी बनाए हुए थे। लेकिन अब भारत की मजबूत आर्थिक ग्रोथ और राजनीतिक स्थिरता के चलते वे फिर से निवेश बढ़ा रहे हैं सितंबर और अक्टूबर में एफआईआई की बड़ी खरीदारी ने बाजार को नई रफ्तार दी है।

घरेलू संकेतक और आर्थिक सुधार

भारत में लगातार हो रहे इंफ्रास्ट्रक्चर विकास, सरकारी कैपेक्स (Capex) और प्राइवेट इन्वेस्टमेंट में तेजी ने भी बाजार को मजबूती दी है। त्योहारों के सीजन में FMCG और ऑटो सेक्टर की बढ़ती मांग ने भी बाजार की धारणा को सकारात्मक बनाया है।

आगे का रास्ता: निवेशकों के लिए रणनीति

बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि आने वाले हफ्तों में निफ्टी 50 22,500–22,800 के स्तर तक जा सकता है, अगर विदेशी निवेश और सेक्टोरल ग्रोथ जारी रहती है। निवेशक आईटी, बैंकिंग और ऑटो सेक्टर पर ध्यान रख सकते हैं। हालांकि, अल्पकालिक निवेश में सावधानी बरतना जरूरी है क्योंकि ग्लोबल मार्केट की अस्थिरता अब भी बनी हुई है।